खुश और सामंजस्यपूर्ण परिवार निबंध
जीवन में खुश और सामंजस्य पूर्ण परिवार कौन नहीं चाहता ज्यादातर हर एक इंसान ऐसा चाहता है क्योंकि खुश और सामंजस्यपूर्ण परिवार में रहकर हम अपने जीवन को बेहतर बना सकते हैं। जीवन को बहुत ही सरल बना सकते हैं।
आज हम देख रहे हैं कि इस आधुनिक युग में भले ही बहुत कुछ अच्छा हुआ हो कुछ बदलाव आया हो लेकिन परिवार को लेकर देखें तो बहुत ही कम ऐसे परिवार हैं जो खुश हैं जिस परिवार के लोग खुश हैं क्योंकि आज के इस आधुनिक युग में लोगों के अंदर कई तरह की भावना जैसे कि लालच, बड़ों का आदर ना करना जैसी भावना जन्म लेती दिख रही है जिस वजह से परिवार उस परिवार की खुशी और सामंजस्य पूर्ण परिवार से दूर होता हुआ दिख रहा है।
यह सही नहीं है परिवार के लोग यदि खुश रहे तो वास्तव में हम हर एक समस्या से लड़ सकते हैं और उसे पूरी तरह से सॉल्व कर सकते हैं। खुश और सामंजस्य परिवार जो भी है वास्तव में समझ लीजिए कि परिवार के सदस्यों के पास दुनिया की सबसे अनमोल चीज है खुश एवं सामंजस्यपूर्ण परिवार तभी बन सकता है जब परिवार का मुखिया समझदार और जागरूक हो एवं परिवार के प्रत्येक सदस्य बड़ों का आदर करें।
लालच की भावना उनमें ना हो यदि यह सब परिवार के लोगों में हैं तो किसी भी परिवार को खुश और सामंजस्य पूर्ण परिवार बनने में कोई समय नहीं लगेगा। खुश और सामंजस्यपूर्ण परिवार के लोग एक दूसरे से अच्छा व्यवहार करते हैं, मैत्रीपूर्ण उनका यह व्यवहार उनको आपस में जोड़े रखता है, परिवार के सदस्यों के बीच प्रेमभाव होता है, एक-दूसरे का आदर करना होता है, अपने कर्तव्यों पर चलना होता है, परिवार के सदस्यों के अंदर अपने परिवार के प्रति समर्पण की भावना होती हैं, रिश्तो को इज्जत देने की भावना प्रत्येक सदस्य के अंदर होती हैं। खुश और सामंजस्य पूर्ण परिवार ऐसा होता है।
जिसकी अन्य परिवार तारीफ करते नहीं थकते खुश एवं सामंजस्य पूर्ण परिवार हमेशा अपने बड़ों का सम्मान करते हैं, उनसे सलाह जरूर लेते हैं, मिलजुल कर किसी भी त्योहार को बड़े ही आनंद पूर्वक मनाते हैं, वह एक दूसरे के लिए जीते हैं।ऐसे परिवार अपने जीवन में बहुत खुश रहते हैं।
खुश एवं सामंजस्य पूर्ण परिवार की सदस्य हमेशा एक दूसरे को समय देते हैं एक दूसरे से अपनी मन की बात द्वारा खुश एवं सामंजस्य पूर्ण परिवार की सदस्य हमेशा एक दूसरे को समय देते हैं। एक दूसरे से अपनी मन की बात करते हैं जहाँ वाद-विवाद पूर्ण बातों से कोसों दूर रहते हैं कुछ एवं सामंजस्यपूर्ण परिवार के सदस्यों के विचार ज्यादातर मिलते हैं एवं बड़े भी अपनी ज्यादा शक्ति को ना दिखाते हुए नरम पूर्ण व्यवहार अपने छोटो से रखते हैं और उनकी गलतियों को क्षमा करते हैं।
ऐसे परिवारों में छोटे भी अपने बड़ों का आदर करते हैं, हमेशा उनकी बात मानते हैं किसी भी कार्य करने से पहले उनकी सलाह जरूर लेते हैं जिससे उनमें एक दूसरे के प्रति प्रेम भाव उत्पन्न होता है। परिवार के प्रत्येक सदस्य एक दूसरे से आदर पूर्वक बात करते हैं कभी भी एक दूसरे का मजाक नहीं उड़ाते तो इस तरह से खुश और सामंजस्यपूर्ण परिवार वास्तव में हर एक व्यक्ति के लिए बड़ा ही महत्वपूर्ण और जरूरी होता है।
आजकल के आधुनिक युग में लोग अपने कामकाज में इतने ज्यादा व्यस्त रहते हैं कि खुश और सामंजस्य पूर्ण परिवार हमें देखने को नहीं मिलता शायद बहुत ही कम परिवार हैं जो खुश और सामंजस्यपूर्ण परिवार की श्रेणी में आते हैं। आजकल तो संयुक्त परिवार ना होते हुए हम सभी को एकल परिवार देखने को मिलते हैं लोग अपने माता-पिता, दादा-दादी को छोड़ कर अकेले ही रहना पसंद करते हैं।
वैसे यदि हम देखें तो खुश और सामंजस्य पूर्ण परिवार एकल परिवार में भी हो सकता है लेकिन आजकल तो एकल परिवारों में भी पति-पत्नी आदि में कई सारे झगड़े देखे जाते हैं। माता-पिता और बच्चों के बीच भी झगड़े होते हैं हम सभी को कोशिश करना चाहिए कि हम अपने परिवार को खुश एवं सामंजस्य पूर्ण परिवार बनाएं।
दोस्तों मेरे द्वारा लिखा यह आर्टिकल आपको कैसा लगा हमें जरूर बताएं इसी तरह के बेहतरीन आर्टिकल्स को पाने के लिए हमें सब्सक्राइब जरूर करें और इस आर्टिकल को ज्यादा से ज्यादा शेयर करना ना भूले।
जीवन में खुश और सामंजस्य पूर्ण परिवार कौन नहीं चाहता ज्यादातर हर एक इंसान ऐसा चाहता है क्योंकि खुश और सामंजस्यपूर्ण परिवार में रहकर हम अपने जीवन को बेहतर बना सकते हैं। जीवन को बहुत ही सरल बना सकते हैं।
आज हम देख रहे हैं कि इस आधुनिक युग में भले ही बहुत कुछ अच्छा हुआ हो कुछ बदलाव आया हो लेकिन परिवार को लेकर देखें तो बहुत ही कम ऐसे परिवार हैं जो खुश हैं जिस परिवार के लोग खुश हैं क्योंकि आज के इस आधुनिक युग में लोगों के अंदर कई तरह की भावना जैसे कि लालच, बड़ों का आदर ना करना जैसी भावना जन्म लेती दिख रही है जिस वजह से परिवार उस परिवार की खुशी और सामंजस्य पूर्ण परिवार से दूर होता हुआ दिख रहा है।
यह सही नहीं है परिवार के लोग यदि खुश रहे तो वास्तव में हम हर एक समस्या से लड़ सकते हैं और उसे पूरी तरह से सॉल्व कर सकते हैं। खुश और सामंजस्य परिवार जो भी है वास्तव में समझ लीजिए कि परिवार के सदस्यों के पास दुनिया की सबसे अनमोल चीज है खुश एवं सामंजस्यपूर्ण परिवार तभी बन सकता है जब परिवार का मुखिया समझदार और जागरूक हो एवं परिवार के प्रत्येक सदस्य बड़ों का आदर करें।
लालच की भावना उनमें ना हो यदि यह सब परिवार के लोगों में हैं तो किसी भी परिवार को खुश और सामंजस्य पूर्ण परिवार बनने में कोई समय नहीं लगेगा। खुश और सामंजस्यपूर्ण परिवार के लोग एक दूसरे से अच्छा व्यवहार करते हैं, मैत्रीपूर्ण उनका यह व्यवहार उनको आपस में जोड़े रखता है, परिवार के सदस्यों के बीच प्रेमभाव होता है, एक-दूसरे का आदर करना होता है, अपने कर्तव्यों पर चलना होता है, परिवार के सदस्यों के अंदर अपने परिवार के प्रति समर्पण की भावना होती हैं, रिश्तो को इज्जत देने की भावना प्रत्येक सदस्य के अंदर होती हैं। खुश और सामंजस्य पूर्ण परिवार ऐसा होता है।
जिसकी अन्य परिवार तारीफ करते नहीं थकते खुश एवं सामंजस्य पूर्ण परिवार हमेशा अपने बड़ों का सम्मान करते हैं, उनसे सलाह जरूर लेते हैं, मिलजुल कर किसी भी त्योहार को बड़े ही आनंद पूर्वक मनाते हैं, वह एक दूसरे के लिए जीते हैं।ऐसे परिवार अपने जीवन में बहुत खुश रहते हैं।
खुश एवं सामंजस्य पूर्ण परिवार की सदस्य हमेशा एक दूसरे को समय देते हैं एक दूसरे से अपनी मन की बात द्वारा खुश एवं सामंजस्य पूर्ण परिवार की सदस्य हमेशा एक दूसरे को समय देते हैं। एक दूसरे से अपनी मन की बात करते हैं जहाँ वाद-विवाद पूर्ण बातों से कोसों दूर रहते हैं कुछ एवं सामंजस्यपूर्ण परिवार के सदस्यों के विचार ज्यादातर मिलते हैं एवं बड़े भी अपनी ज्यादा शक्ति को ना दिखाते हुए नरम पूर्ण व्यवहार अपने छोटो से रखते हैं और उनकी गलतियों को क्षमा करते हैं।
ऐसे परिवारों में छोटे भी अपने बड़ों का आदर करते हैं, हमेशा उनकी बात मानते हैं किसी भी कार्य करने से पहले उनकी सलाह जरूर लेते हैं जिससे उनमें एक दूसरे के प्रति प्रेम भाव उत्पन्न होता है। परिवार के प्रत्येक सदस्य एक दूसरे से आदर पूर्वक बात करते हैं कभी भी एक दूसरे का मजाक नहीं उड़ाते तो इस तरह से खुश और सामंजस्यपूर्ण परिवार वास्तव में हर एक व्यक्ति के लिए बड़ा ही महत्वपूर्ण और जरूरी होता है।
आजकल के आधुनिक युग में लोग अपने कामकाज में इतने ज्यादा व्यस्त रहते हैं कि खुश और सामंजस्य पूर्ण परिवार हमें देखने को नहीं मिलता शायद बहुत ही कम परिवार हैं जो खुश और सामंजस्यपूर्ण परिवार की श्रेणी में आते हैं। आजकल तो संयुक्त परिवार ना होते हुए हम सभी को एकल परिवार देखने को मिलते हैं लोग अपने माता-पिता, दादा-दादी को छोड़ कर अकेले ही रहना पसंद करते हैं।
वैसे यदि हम देखें तो खुश और सामंजस्य पूर्ण परिवार एकल परिवार में भी हो सकता है लेकिन आजकल तो एकल परिवारों में भी पति-पत्नी आदि में कई सारे झगड़े देखे जाते हैं। माता-पिता और बच्चों के बीच भी झगड़े होते हैं हम सभी को कोशिश करना चाहिए कि हम अपने परिवार को खुश एवं सामंजस्य पूर्ण परिवार बनाएं।
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